घोटालेबाज, माफिया, भ्रष्ट होने के दावे
आरजी कर अस्पताल के पूर्व प्रिंसिपल डॉ. संदीप घोष के खिलाफ कुछ समय से गंभीर आरोप लग रहे हैं, जिनमें उन्हें ‘घोटालेबाज’, ‘माफिया’, और ‘भ्रष्ट’ जैसे विशेषणों से नवाजा गया है। इन आरोपों के अनुसार, डॉ. घोष पर अस्पताल में भ्रष्टाचार और घोटाले के आरोप हैं, जिनमें अवैध वित्तीय लेन-देन, भर्ती में अनियमितताएँ और अस्पताल के संसाधनों का दुरुपयोग शामिल है। यह भी दावा किया गया है कि उनके कार्यकाल के दौरान अस्पताल की व्यवस्थाओं और सेवाओं में गिरावट आई, जिससे मरीजों को गंभीर समस्याओं का सामना करना पड़ा।
हालांकि, डॉ. घोष की तरफ से इन आरोपों का खंडन किया गया है और उन्होंने इन सबको निराधार बताया है। उनका कहना है कि ये आरोप राजनीति या व्यक्तिगत द्वंद्व का परिणाम हो सकते हैं, और वे अपने खिलाफ लगाए गए सभी आरोपों की स्वतंत्र जांच की मांग कर रहे हैं।
इस संदर्भ में, यह महत्वपूर्ण है कि मामले की निष्पक्ष जांच हो ताकि सही तथ्य सामने आ सकें और न्याय सुनिश्चित किया जा सके। जब तक पूरी जांच पूरी नहीं होती, किसी भी पक्ष को दोषी मानना या बेगुनाह ठहराना उचित नहीं होगा।